पद्म भूषण से सम्मानित डॉ. चितरंजन सिंह जी राणावत का हुआ स्वर्गवास, ठिकाना सरवानिया महाराज के राणावत परिवार में जन्मी एक ऐसी हस्ती जिन्होंने गांव का नाम पूरे विश्व में किया रोशन समूचे अंचल में शोक की लहर@NeemuchToday

शोक संदेश
नगर सरवानिया महाराज के गौरव स्व. चितरंजन सिंह जी राणावत का जन्म सरवानिया महाराज में हुआ था और आपने अपनी प्रारंभिक चिकित्सा शिक्षा महात्मा गांधी मेमोरियल मेडिकल कॉलेज इंदौर से प्राप्त की और उन्नत प्रशिक्षण के लिए अमेरिका जाने से पहले द डेली कॉलेज इंदौर से स्कूली शिक्षा प्राप्त की, वहाँ आपने सेंट पीटर्स अस्पताल, अल्बानी और अल्बानी मेडिकल सेंटर में काम किया और 1969 में अमेरिकन बोर्ड ऑफ ऑर्थोपेडिक सर्जरी द्वारा एक आर्थोपेडिक सर्जन के रूप में प्रमाणन प्राप्त किया। बाद में आप लेनॉक्स हिल अस्पताल चले गए जहां आप आर्थोपेडिक विभाग के अध्यक्ष और निर्देशक बने।आपने कॉर्नेल विश्वविद्यालय के वेइल मेडिकल कॉलेज में प्रोफेसर और अन्य विश्वविद्यालयों में विजिटिंग फैकल्टी के रूप में भी काम किया है। आपने न्यूयॉर्क शहर में ही हॉस्पिटल फॉर स्पेशल सर्जरी के अल्बर्ट बर्सीन ने बायोमेट द्वारा विपणन किए गए एक हिप रिप्लेसमेंट इम्प्लांट का आविष्कार किया।1986 में आपने एक परोपकारी संगठन राणावत फाउंडेशन की स्थापना की और आपने प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी के घुटने का सफल ऑपरेशन भी किया,
सन् 2001 में उन्हें तीसरा सर्वोच्च भारतीय नागरिक पुरस्कार पद्म भूषण भी मिला।प्रत्येक वर्ष अपनी वार्षिक बैठक में (Knee) नी सोसाइटी उस वर्ष के सर्वश्रेष्ठ शोध पत्रों के लिए "चितरंजन एस. राणावत, एमडी पुरस्कार" और दो अन्य पुरस्कार भी प्रदान करती हैं।

 

जानकारी रिपोर्टर-अनिल लक्षकार ने दी

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